ग्रेजुएशन कोर्स साइंस स्ट्रीम PCB के साथ | Graduation Course Science Stream PCB | Graduation Course After 12th for Science Stream

जिन भी छात्रों ने 12वीं कक्षा भौतिक विज्ञान, रसायन विज्ञान और जीव विज्ञान के साथ पास की है वे छात्र 12 वीं कक्षा के बाद मेडिकल जैसे MBBS व BDS के एंट्रेंस एग्जाम की तैयारी कर सकते हैं। वैसे इसके अतिरिक्त और भी छात्रों के पास बहुत से अन्य विकल्प मौजूद हैं। जैसे कि आप बी.फार्मा, बी.एससी नर्सिंग, पैरामेडिकल, BAMS यानी बैचलर ऑफ आयुर्वेदिक मेडिसिन ऐंड सर्जरी आदि कोर्स कर सकते हैं। आप नीचे दिए हुए इमेज से 12 वीं के बाद के लिए कोर्सेज देख सकते हैं।

Graduation Course for Science Stream PCB
Graduation Course for Science Stream PCB

बैचलर ऑफ मेडिसिन एंड बैचलर ऑफ सर्जरी (MBBS) | MBBS Course Details in Hindi

पीसीबी से 12वीं की पढ़ाई करने वाले ज्यादातर स्टूडेंट्स का सपना होता है डाक्टर बनने का। या फिर यूं कहें कि शायद बचपन से ही ज्यादातर बच्चे डॉक्टर बनने का ही सपना देखते हैं। एमबीबीएस का फुल फॉर्म है बैचलर ऑफ मेडिसिन एंड बैचलर ऑफ सर्जरी। डॉक्टर बनने के लिए फोकस्ड तैयारी की शुरुआत मुख्यतया दसवीं पास करने के बाद ही होती है। ऐसे में मेडिकल प्रोफेशन में उतरने के लिए हायर सेकंडरी एजुकेशन में सही विषयों का चयन करना बहुत जरूरी है। यहाँ आपको बता दें कि आपको 11 वीं और 12 वीं कक्षा में भौतिकी, रसायन विज्ञान और अंग्रेजी के साथ जीव विज्ञान / जैव प्रौद्योगिकी का अध्ययन करना आवश्यक है। यह अंडर ग्रेजुएट कोर्स होता है। यह तो पता ही होगा कि इस पढ़ाई  को करने के बाद आप डॉक्टर बन जाएंगे। मेडिकल परीक्षाओं के लिए NEET की तैयारी करनी होती है जो बिलकुल भी सरल नहीं हैं। सही रणनीति व मार्गदर्शन से आप इसे पास करने की सोच सकते हैं।

बैचलर ऑफ होम्योपैथिक मेडिसिन एंड सर्जरी (BHMS) | Bachelor of Homeopathic

बैचलर ऑफ होम्योपैथिक मेडिसिन एंड सर्जरी एक बहुत ही ज्यादा पॉपुलर कोर्स है जिसे करने के बाद आप एक होम्योपैथिक डॉक्टर बन सकते है या फिर आप किसी होम्योपैथिक डॉक्टर बन के किसी हॉस्पिटल में जॉब कर सकते है और डॉक्टर में एक्सपर्ट हो सकते है बैचलर ऑफ होम्योपैथिक मेडिसिन एंड सर्जरी करने के बाद बहुत कुछ कर सकते है। होम्योपैथिक मेडिसिन और सर्जरी स्नातक एक होम्योपैथी के क्षेत्र में पाठ्यक्रम या कार्यक्रम के लिए प्रदान की जाने वाली एक स्नातक डिग्री है। इसे BHMS जो बैचलर ऑफ होम्योपैथिक मेडिसिन एंड सर्जरी डिग्री का संक्षिप्त रूप है। BHMS की अवधि। वह वर्ष है जिसमें इंटर्नशिप शामिल है। होम्योपैथिक मेडिसिन और सर्जरी की डिग्री एक समग्र वैकल्पिक चिकित्सा डिग्री के रूप में होम्योपैथिक औषधीय प्रणाली के बुनियादी और गहन ज्ञान प्रदान करती है।

बैचलर ऑफ आयुर्वेद मेडिसिन एंड सर्जरी(BAMS) | Bachelor of Ayurvedic

BAMS की फुल फॉर्म “बैचलर ऑफ आयुर्वेद मेडिसिन एंड सर्जरी” होती है इसको हिंदी में “आयुर्वेदिक चिकित्सा और सर्जरी के स्नातक” कहते है। बैचलर ऑफ आयुर्वेद मेडिसिन एंड सर्जरी एक आयुर्वेद का कोर्स होता हैं। ये एक अंडरग्रेजुएट कोर्स होता हैं आप इसे अपनी 12 वी कक्षा पास करने के बाद कर सकते हैं। अगर आप इस कोर्स को करते हैं तो आप आयुर्वेद के चिकित्क कहलाते हैं। BAMS पूरा होने के बाद आपको मान्यता प्राप्त विश्वविद्यालय से आयुर्वेदाचार्य की उपाधि प्राप्त होती हैं जिसका अर्थ होता है की आपको आयुर्वेद की समझ और अभ्यास हैं और आप इसके विशेषज्ञ है।  बहुत से ऐसे कॉलेज है जो BAMS में एडमिशन देते हैं। यह कोर्स पुरे साढ़े 5 साल का होता है। इस कोर्स में आयुर्वेद के साथ ही आधुनिक दवाओं की शिक्षा भी शामिल होती है। भारतीय शिक्षा प्रणाली में BAMS की डिग्री बहुत महत्वपूर्ण स्थान रखती है. इसमें छात्रों को नेचुरल हर्ब्स के द्वारा ट्रीटमेंट करना सिखाया जाता है।

पशु चिकित्सा विज्ञान स्नातक(B.VSC) | Pashu Chikitsa Diploma

B.VSc की फुल फॉर्म “Bachelor of Veterinary Science” होती है, जिसको हिंदी में “पशु चिकित्सा विज्ञान स्नातक” कहते है। B.VSc पशु चिकित्सा विज्ञान में अध्ययन के लिए स्नातक की डिग्री (Graduation Course) है। पशु चिकित्सा विज्ञान स्नातक B.VSc फिजिक्स, केमिस्ट्री और बायोलॉजी के क्षेत्र में 12 पास करने वाले छात्र इस कोर्स के लिए योग्य होते है। एक व्यक्ति जो इस कोर्स में स्नातक है, एक पशुचिकित्सा के पेशे को आगे बढ़ाता है। पशु चिकित्सा विज्ञान, विज्ञान की वह शाखा है जो गैर-मानव पशुओं में बीमारी, विकार और चोट की रोकथाम, निदान और उपचार से संबंधित है। इस कोर्स की अवधि न्यूनतम 3 वर्ष और अधिकतम 5 वर्ष होती है। भारत में औसत शुल्क संस्थानों के आधार पर 7,000 से 22,000 INR तक कहीं भी हो सकता है। इस कोर्स के बाद एक व्यक्ति को सरकारी और निजी दोनों क्षेत्रों में रोजगार मिल सकता है। इस कोर्स की मांग बहुत अधिक है और विविध विविधताएं हैं।

जाने क्या है पैरामेडिकल | Paramedical Graduation Courses

एक विज्ञान जो पूर्व अस्पताल के आपातकालीन सेवाओं से संबंधित है, उसे पैरामेडिकल साइंस कहा जाता है। और इस क्षेत्र में काम करने वाले व्यक्ति को एक सहायक चिकित्सक के रूप में संदर्भित किया जाता है। जो बच्चे पैरामेडिकल में अपना करियर बनाना चाहते हैं उनको बता दें कि पैरामेडिकल विज्ञान के क्षेत्र में काम के प्रमुख क्षेत्रों में रीढ़ की हड्डी में चोट प्रबंधन, फ्रैक्चर प्रबंधन, प्रसूति, जलने और मूल्यांकन के प्रबंधन, और सामान्य दुर्घटना के दृश्य का मूल्यांकन करते हैं। कुशल परामर्श विशेषज्ञों की बढ़ती मांग ने युवा उम्मीदवारों के लिए कई कैरियर के अवसर खोले हैं। कई पैरामेडिकल संस्थान डिग्री-और डिप्लोमा स्तर पर पैरा-मेडिसिन के क्षेत्र में कोर्स प्रदान करते हैं। भारत में कई पैरामेडिकल कॉलेज हैं, जो स्नातक डिग्री के क्षेत्र में और स्नातक डिग्री और डिप्लोमा स्तर पर कोर्स प्रदान करते हैं।  पैरा मेडिकल कोर्स 10 वीं, 12 वीं के बाद पूरा हो सकते हैं। पैरामेडिकल धारा में 10 वीं कक्षा के बाद विभिन्न कोर्स  हैं। ये कोर्स लंबाई में भिन्न होते हैं, जैसे कि एक वर्ष के कोर्स और छह महीने के कोर्स । लोकप्रिय एक साल के कोर्स में से कुछ में रेडियोलॉजिस्ट, मेडिकल रिकॉर्ड तकनीशियन और ऑपरेशन थिएटर टेक्नोलॉजी शामिल हैं। आईसीयू तकनीशियन, ईसीजी तकनीशियन, फार्मेसी सहायक, सीटी तकनीशियन और एन्डोस्कोपी तकनीशियन, अपने 12 वीं कक्षा को पूरा करने के बाद कुछ छह महीने के पाठ्यक्रम कर सकते हैं।

बीएससी नर्सिंग (B.se nursing)

चिकित्सा विज्ञान जहाँ हर दिन नई नई तकनीक आ रही हैं और अब तो कई सारी ऐसी बीमारियाँ जिनका इलाज संभव नहीं था उनका भी इलाज संभव हो रहा हैं।   कहने का तात्पर्य हैं कि चिकित्सा विज्ञान में हो रही तरक्की के कारण इस क्षेत्र में रोजगार की भी भरमार हैं। बीएससी नर्सिंग एक ऐसा कौर्स हैं जिसके माध्यम से आसानी से चिकित्सा क्षेत्र में करियर बनाया जा सकता हैं। नर्सिंग एक बहुत ही अच्छा और सम्मान जनक कार्य हैं जहाँ अच्छा पैसा भी हैं और सुकून भी। जरुरी नहीं हैं कि चिकित्सा क्षेत्र में जाने के लिए आपको डॉक्टर ही बनना पड़े। डॉक्टर बनने के लिए बहुत ज्यादा पैसा, समय, मेहनत आदि लगती हैं। इस कारण से कई लोग MBBS या ऐसी ही कोई अन्य पढाई नहीं कर पाते। किन्तु इसके आलावा ऐसे कई सारे कोर्स हैं जिनके द्वारा आप इस क्षेत्र में शानदार करियर बना सकते हैं। बी.एस.सी. नर्सिंग एक ऐसा ही कोर्स है।

 

BMLT (Bachelor of Medical Laboratory technology)

BMLT का फुल फॉर्म “Bachelor of Medical Laboratory technology” होता है। ये एक बैचलर डिग्री होती है। जिसकी आप तीन साल में पूरा कर सकते है और इसे भी वो लोग कर सकते हैं जिन्होंने अपनी बाहरवीं कक्षा की पढ़ाई “फिजिक्स, चेमेस्ट्री और मैथ या फिजिक्स, चेमेस्ट्री और बायोलॉजी” से की हो। इस कोर्स को करने के बाद आपको एक अच्छी नौकरी मिल सकती है। वो भी एक अच्छे स्थान पे। जैसे कि: सरकारी अस्पताल, निजी अस्पताल, मामूली आपातकालीन केंद्र, निजी प्रयोगशाला, रक्तदाता केंद्र, डॉक्टर के क्लीनिक, अनुसंधान सुविधाएं में। इस कोर्स को करने के बाद लोग चिकित्सा तकनीशियन, मेडिकल टेक्नोलॉजिस्ट, प्रयोगशाला प्रभारी, QC प्रबंधक, क्यूए प्रबंधक, लैब कंसल्टेंट, स्वास्थ्य देखभाल प्रशासक, अस्पताल आउटरीच समन्वय, आदि बन सकते हैं।

बीएसई होम साइंस(BSE home Science)

आजकल अनेक लोग होम साइंस में कैरियर विकल्प के बारे में नही जानते हैं। उनके अनुसार इस फील्ड में बहुत ही सीमित कैरियर के अवसर हैं। अगर आपका भी यही मानना है, तो आप बिलकुल गलत हैं। आज के समय मे होम साइंस में बेहतरीन कैरियर बनाया जा सकता है। आज भी इस कोर्स के प्रति लोगों में बहुत कम जागरूकता है। यदि आप थोड़ा भी इस इस सेक्टर में करियर को लेकर सतर्क हैं, तो आप इसमें अपना उज्ज्वल कैरियर बना सकते हैं। अगर आप होम साइंस या बीएससी होम साइंस में कैरियर बनाना चाहते हैं, तो आप 12वीं के बाद Bsc in Home Science या बीए इन होम साइंस कर इस फील्ड में कैरियर बना सकते हैं। इस कोर्स में एडमिशन के लिए कैंडिडेट्स को किसी भी स्ट्रीम से 12वीं पास होना चाहिए। आजकल अनेक कॉलेज और यूनिवर्सिटी में होम साइंस कोर्स संचालित किए जाते हैं। जिनमे एडमिशन लेकर आप इस क्षेत्र में कैरियर बनाने का सपना पूरा कर सकते हैं।

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